भोपाल : मध्यप्रदेश का वह वायरल वीडियो जिसमें एक आदिवासी व्यक्ति दशमत रावत पर एक व्यक्ति प्रवेश शुक्ला नशे में पेशाब कर रहा है, की घटना को हुए एक साल से ऊपर हो चुका है। उस वीडियो को अब वायरल किया गया, क्योंकि उस वीडियो के बदले आरोपी प्रवेश शुक्ला से पैसे मांगे गए थे जो कि ब्लैकमेल करने वाले को नहीं दिया गया।
इस घटना के संबंध में यह कहा जा रहा है कि इसके पीछे प्रवेश के विरोधी और विपक्षी पार्टी वालों ने साजिशन प्रवेश शुक्ला को शराब पिलाया, वह इतने नशे में हो गया था कि उसे यह भी नहीं मालूम था कि वह कितना जघन्य और अमानवीय अपराध कर रहा है? और इसके साथ उसके कुकृत्य का वीडियो भी बनाया गया।
प्रवेश शुक्ला दोस्तों के साथ बैठकर दारू पी रहा था। उसे इतना ज्यादा दारू पिलाया जाता है कि उसे होश नहीं रहता है कि क्या रहा है और इस कुकृत्य के क्या परिणाम हो सकता है, लेकिन इसके कमजोरी का इसके दोस्तों को सब पता था ! किसी ने उसे टोकने रोकने की कोशिश नहीं की।
आरोपी प्रवेश शुक्ला के चाचा ने मीडिया से बातचीत में बताया कि प्रवेश 29 जून को घर से यह कहते हुए निकला कि सुसाइड कर लेगा। प्रवेश के घर नहीं लौटने पर उसी रात थाने में गुमशुदगी की शिकायत भी दी गई थी। आगे बताया कि जनवरी में हुए चुनाव की रंजिश को लेकर कुबरी गांव के आदर्श शुक्ला और दीनदयाल साहू इस वीडियो को वायरल करने की धमकी देकर पैसा मांग रहे थे।
थाना में मामला संबंधी शिकायत प्रवेश शुक्ला को ब्लैकमेल करने वाले आदर्श शुक्ला, दीनदयाल साहू, मृत्युंजय गौतम, प्रवीण कुमार शुक्ला उर्फ पिंटू के नाम से किया गया है। लेकिन पुलिस वालों ने कोई कार्रवाई नहीं की, पुलिस आई और बयान लेकर चली गई। इसके बाद ही 3 जुलाई को वीडियो वायरल किया गया।
चर्चा में यह सवाल उठाया जा रहा है कि जो आदिवासी व्यक्ति वीडियो में दिखाया गया है और जिसके ऊपर पेशाब किया गया है उसने कहीं भी विरोध करने का कोशिश नहीं किया और ऐसे लग रहा है कि वह किसी दवाब में चुपचाप बैठा हुआ है और नशे में है। यह आखिर क्यों है ? इसका भी जांच होना चाहिए !
आरोपी प्रवेश के चाचा ने कहा कि मुझे जहां तक लगता है भाजपा के विरोध में यह एक बहुत बड़ा षड्यंत्र किया गया है ताकि प्रवेश से कुकृत्या करा कर भाजपा को बदनाम करके आदिवासी और दलित वोटर को उससे अलग कर दिया जाए। यदि भाजपा प्रवेश शुक्ला पर कार्रवाई करती है तो ब्राह्मण वोटर उससे नाराज हो जाएंगे और ऐसा होता हुआ दिख भी रहा है।
प्रवेश के चाचा ने कहा कि मैं तो कहूंगा इसकी बारीकी से जांच हो और एक-एक पहलुओं को देखा जाए सिर्फ किसी एक जाति को खुश करने के लिए एक तरफा कार्रवाई करना उचित नहीं है। कांग्रेस और बाकी के विपक्षी दल इस मौका को गंवाना नहीं चाहते और वह खुलकर गंदी राजनीति कर रहे हैं।