पटना : बिहार के पटना में विपक्षी गठबंधन INDI एलायंस के आज की लाखों की जनरैली को कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, कांग्रेस नेता राहुल गांधी, समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव और आरजेडी नेता और बिहार के पूर्व डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने संबोधित किया।
विपक्ष के सभी नेताओं के साथ बीजेपी और केंद्र की NDA सरकार पर हमला बोलते हुए चारा चोर की उपाधि प्राप्त, बिहार की शिक्षा व्यवस्था को ध्वस्त करने वाले, राज्य को आर्थिक- राजनैतिक पिछड़ेपन में बनाए रखने और को जंगलराज की उपलब्धि दिलाने वाले बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू ने गांधी मैदान की रैली में भविष्यवाणी की कि “गठबंधन के साथी गोलबंद होकर इन्हें विदा करेंगे।” कांग्रेस पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा, “देश में विचारधारा की लड़ाई है। एक तरफ नफ़रत, हिंसा और अहंकार है तो दूसरी तरफ़ मोहब्बत, भाइचारा और एक दूसरे की इज़्ज़त है। इंडिया गठबंधन बीजेपी का मुक़ाबला कर रहा है। जब तक आप मोदी को नहीं हटाएंगे, इस देश में सुख और समृद्धि नहीं रहेगी।”
समाजवादी पार्टी सुप्रीमो अखिलेश यादव ने सभा को संबोधित करते हुए कहा, “किसान दुखी है, नौजवान के हाथ में नौकरी नहीं है। दस साल के उनके कार्यकाल में क्या उपलब्धि है जनता के लिए। हमें उम्मीद है कि यूपी के साथ साथ बिहार भी बदलाव की राह पर चलेगा।”
लालू पुत्र तेजस्वी यादव नीतीश कुमार द्वारा सत्ता से बाहर किए जाने के बाद जन विश्वास यात्रा को विपक्षी रैली पटना में संबोधित करते हुए कहा कि आरजेडी MY-BAAP ‘माई बाप’ की पार्टी है। “कुछ लोग कहते हैं कि माई की पार्टी है, मुसलमान यादव की पार्टी है, हम कहना चाहते हैं कि ये माई-बाप की पार्टी है। बी से बहुजन, ए से अगड़ा, दूसरे ए से आधी आबादी यानी महिला और पी से पुअर यानी ग़रीब। ये माई-बाप की पार्टी है, ये ए टू ज़ेड सबकी पार्टी है”तेजस्वी यादव ने कहा, “आरजेडी का मतलब मोदी जी कुछ भी कहते रहे हैं लेकिन आरजेडी का मतलब है आर यानी राइट्स यानी अधिकार, जे से जॉब्स और डी से डेवलपमेंट, मतलब है राइट्स, जॉब्स और डेवलपमेंट।” और 2024 में नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड समाप्त हो जाएगी।
इस रैली को सबसे आखिर में संबोधित करते हुए लालू ने कहा कि “दिल्ली पर कब्ज़ा करना है। तैयार हैं ना ? बिहार की हवा देश की हवा बदल देती है। बिहार की हवा में इतना दम है कि जो बिहार फैसला लेता है वही देश के लोग अनुकरण करते हैं। रैली में जुटी भीड़ को देखकर नीतीश कुमार परेशान हो जाएंगे। नीतीश कुमार पहली बार निकले तो हमने कोई गाली नहीं दिया, बस कहा कि वो पलटू राम हैं। नहीं पलटना चाहिए था। दोबारा हमसे, तेजस्वी से ग़लती हो गई, दोबारा ये पलट गए। पीएम मोदी तुम देश भर में नफ़रत फैला रहे हो, राम-रहीम के बंदों में नफ़रत फैला रहे हैं। लालू यादव ने महागठबंधन सरकार में रहते हुए तेजस्वी ने नौकरी देने का काम किया।”
इस महारैली में नीतीश सरकार द्वारा नौकरियां देने का श्रेय अपने नाम लेते हुए तेजस्वी यादव ने कहा, “जहां तक मेरी नज़र जा रही है केवल लोग ही लोग नज़र आ रहे हैं, दस लाख से ज़्यादा लोग आ गए हैं। 3500 किलोमीटर की हम लोगों ने दस दिन में यात्रा की और पूरा बिहार घूमने का काम किया। आप सभी को पटना आमंत्रित किया था, इतनी बड़ी संख्या में आप लोग आए हैं, आज रिकॉर्ड टूटा है।”
17 महीने की महागठबंधन सरकार के कामों का ज़िक्र करते हुए उन्होंने कहा, “यही गांधी मैदान है, यहां राजनैतिक रैलियां तो होती थी, लेकिन जब तेजस्वी 17 महीने सरकार में था तब नौकरियों का भी रैला यहां हुआ था। यहीं से दो लाख लोगों को नियुक्ति पत्र हमने बंटवाया था। रोज़गार मेला और रोज़गार रैली हमने इसी धरती पर की है। हम आपसे पूछना चाहते हैं, सबसे पहली बार आपने किसके मुंह से सुना था दस लाख नौकरी का। पटना में, बिहार में पोस्टर लगवा रहे हैं नीतीश कुमार जी, हम उनका सम्मान करते हैं, लेकिन पोस्टर लगवा रहे हैं कि रोज़गार मतलब नीतीश कुमार। जब 2020 में हमने वादा किया था कि दस लाख नौकरियों का तब इन्हीं नीतीश कुमार ने कहा था कि कहां से लाएगा पैसा, अपने बाप के पास से लाकर वेतन बांटेगा।”
तेजस्वी यादव ने जाति जनगणना का श्रेय लेते हुए कहा, “महागठबंधन के साथियों ने विपरीत परिस्थितियों में भी हमारा साथ दिया। इन 17 महीनों में हमने जाति आधारित जनगणना कराई, आरक्षण को 75 प्रतिशत तक किया, हमने दलितों के लिए आदिवासियों के लिए आरक्षण बढ़ाया. जिस काम को आज़ादी से आज तक किसी सरकार ने नहीं किया था उसे हमने केवल 17 महीनों में कर दिखाया। कितना भी दबाएंगे, तेजस्वी खड़ा है आपके साथ, आपको आपका अधिकार दिलाकर रखेगा। अगर आप साथ दोगे तो तेजस्वी आपके लिए मर मिटने को तैयार है। उत्तर प्रदेश में गठबंधन हुआ, तुरंत सीबीआई के लोग हमारे भाई के पास आ गए, अखिलेश जी को समन भेज दिया। हमारे तो पूरे परिवार को समन भेजा ही, लेकिन हम लोग डरने वाले लोग नहीं है।”
तेजस्वी यादव ने कहा, “प्रधानमंत्री जी कल आए थे और बोल रहे थे हमारे पिता के बारे में, हमको बोले-अपने पिता का नाम क्यों नहीं लेता है, अपने पिता का काम क्यों नहीं गिनाता है ? मोदी जी, कान खोलकर सुनिए, इसी बिहार की धरती से हम बोल रहे हैं। चश्मा साफ़ कर लीजिए, खोलकर ये नज़ारा देखो। मोदी जी, ज़रा बताइये, यूपीए कार्यकाल में 90 हज़ार करोड़ का फ़ायदा रेलवे को हुआ था, आज तक रेलवे को मुनाफ़ा नहीं हुआ था। लालू जी ने 90 हज़ार करोड़ का मुनाफ़ा रेलवे को दिया। थोड़ा आप बता दें आपने जनता को, रेलवे को कोई मुनाफ़ा दिया या पूंजीपति को दिया? मानसिक गुलामी से मुक्ति लालू यादव ने दिलाई। बिहार में ग़रीबों को उनका हक़ दिया। सामाजिक न्याय करके दिखाया। 1990 के बाद आज कोई भी ग़रीब अपने अधिकार के लिए लड़ना जानता है, पिछड़ा लड़ना जानता है, दलित लड़ना जानता है, अल्पसंख्यक भाई लड़ना जानते हैं। ये लालू ने दिया है।”
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